दिल्ली में 10वीं और 12वीं कक्षा के करीब 3.14 लाख छात्रों का सीबीएसई परीक्षा शुल्क अब दिल्ली सरकार देगी।
शिक्षा विभाग के इससे जुड़े एक प्रस्ताव को बुधवार को दिल्ली कैबिनेट ने मंजूरी दे दी। यह सुविधा दिल्ली सरकार के स्कूलों के साथ अनुदान प्राप्त और पत्राचार विद्यालय के विद्यार्थियों को मिलेगी। इसके लिए सरकार को हर साल 57 करोड़ रुपये खर्च करने होंगे।
अधिकारियों का कहना है कि दिल्ली में 10वीं और 12वीं के छात्रों की परीक्षा सीबीएसई और तीसरी से 8वीं, 9वीं और 11वीं की मिड टर्म और वार्षिक परीक्षा शिक्षा निदेशालय कराता है। दिल्ली सरकार की योजना के तहत गृह परीक्षा का पूरा खर्च शिक्षा निदेशालय करता है। इससे अभिभावकों पर बोझ नहीं पड़ता। सीबीएसई परीक्षा के लिए बच्चों को शुल्क देना पड़ता है। यह शुल्क अब दिल्ली सरकार देगी।
कैबिनेट के बुधवार के फैसले के बाद सरकारी स्कूलों, अनुदान प्राप्त और पत्राचार्य विद्यालयों के विद्यार्थियों को परीक्षा शुल्क नहीं देना पड़ेगा। दिल्ली सरकार सीबीएसई को इसका भुगतान शिक्षा निदेशालय के जरिए करेगी। योजना मौजूदा शिक्षा सत्र 2019-20 से लागू होगी। लाभ पाने वालों में 10वीं के 1,79,914 और बारहवीं के 1,33,802 विद्यार्थी होंगे।
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