मेरे मन से वाणी से संकुल के किसी भी शिक्षकों को चोट लगी हो तो मैं ह्दय से क्षमा माँगता हूँ - संजय बोरसे
बुरहानपुर/शाहपुर- शिक्षा विभाग के शाहपुर संकुल के प्राचार्य श्री संजय बोरसे जी द्वारा इस शाला में 20 वर्ष की निरंतर सेवा देने के पश्चात उनके गृह जिले में उनका स्थानांतरण होने पर समस्त संकुल परिवार द्वारा उनका भव्य विदाई समारोह का आयोजन स्थानिय मंगलम मंगल परिसर शाहपुर में आयोजित किया गया है। श्री बोरसे अपने पूर्ण परिवार के साथ इस कार्यक्रम में पधारे थे । कार्यक्रम की अध्यक्षता श्री सैय्यद अतिक अली (जिला शिक्षा अधिकारी ) ने की एवं मुख्य अतिथि श्री संतोष सोलंकी (विकास खण्ड शिक्षा अधिकारी) थे।
विदाई की इस पावन बेला बेला पर शाहपुर संकुल के सभी शिक्षक-शिक्षिकाएं और शिक्षा विभाग के श्री रविन्द्र महाजन, श्रीमती सीमा तंवर सहित अन्य शिक्षकगण एवं शाहपुर नगर परिषद के रामभाऊ लांडे, युवराज महाजन,रामभाऊ सोनवणे, विजयकुमार राठौर, प्रवीण टेम्भूर्णे,गजानन इंगले ,दीपक पाटील, स्कूल प्रहरी समाचार पत्र के महेश मावले, अमर पाटील,संजय राऊत,सुरेश पवार, शालीकराम चौधरी,नन्दकिशोर मोरे सहित कई गणमान्य नागरिक एवं मीडिया बन्धु उपस्थित थे । विदाई कार्यक्रम का संयोजन संकुल के सभी साथियों के सहयोग के साथ प्राचार्य अनिता गर्ग, विजय तुलसकर, संजय अगनानी, पुण्डलीक निम्भोरे, प्रकाश पाटील, पंढरीनाथ महाजन, शालीकराम चौधरी,महेन्द्र महाजन,राजेंद्र चौधरी,मुरलीधर पाटील,प्रमोद चौधरी एवं स्वप्नील पाटील ने किया ।
संकुल के शिक्षक समाधान गायकवाड़ ने "तु कल चला जायेगा तो मै क्या करूगा" गीत गाकर परिसर में शिक्षकों को भावुक कर दिया । कार्यक्रम को सभी अतिथियों ने सम्बोधित करते हुए श्री बोरसे के उज्जवल भविष्य की कामना की । विकास खण्ड शिक्षा अधिकारी संतोष सोलंकी ने कहा कि यहां बोरसे जी एक लम्बा कार्यकाल व्यतीत किया है मै उनके उज्जवल भविष्य की कामना करता हूँ ।
जिला शिक्षा अधिकारी सैय्यद अतिक ने कहा कि बोरसे का स्थानान्तरण एक शासकीय प्रकिया है वे जहाँ भी जायेंगे अपने अनुभवों का लाभ विद्यार्थियों को मिलता रहेगा । बोरसे जी ने अच्छे आचार विचार और व्यवहार से लोगों के दिलों में जगह बनाई। बोरसे जी के अच्छे कार्यों की यहाँ तारिफ हो रही है वह सभी शिक्षकों की तारीफ है। मै उनके उज्जवल भविष्य मंगलमय शुभकामनाएँ देता हूँ ।
इस अवसर पर संजय बोरसे ने अपने उद्बोधन में कहा कि आपने जो स्नेह दिया वह कभी नहीं भूलूंगा । यह हमेशा मेरे ह्रदय में रहेगा ।मैंने अपने कर्मों और वाणी में कभी अन्तर नहीं किया । मैंने अपने माता पिता की सेवा की है आप सभी से भी निवेदन करना चाहता हूँ कि आप भी माता पिता की सेवा करे। मुझे नगर परिषद का सहयोग हमेशा मिलता रहा ।
मेरे मन से वाणी से संकुल के किसी भी शिक्षकों को चोट लगी हो तो मैं ह्दय से क्षमा माँगता हूँ । मेरे दोनों जनशिक्षकों के साथ मैंने इमानदारी से कार्य किया है । मुझे जो प्रेम और विश्वास आपसे मिला है मै सदा इसका आभारी रहूँगा । मै आप सभी के सत्कार से अभिभूत हूँ।
कार्यक्रम का बहुत ही सुन्दर आवाज के साथ सफल संचालन श्री संजय गुप्ता ने किया ।
कार्यक्रम के अन्त में सभी अतिथियों एवं शिक्षकों का पुंडलिक निम्भोरे ने आभार व्यक्त किया ।
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